1.5. गोवा : जैसा मैंने देखा - Goa: Jaisa Maine Dekha - Class 10 - Lokbharati
- Aug 26
- 8 min read
Updated: Nov 19

पाठ का प्रकार: गद्य (यात्रा वृत्तांत)
पाठ का शीर्षक: गोवा : जैसा मैंने देखा
लेखक/कवि का नाम: विनय शर्मा
सारांश (Bilingual Summary)
हिन्दी: "गोवा : जैसा मैंने देखा" लेखक विनय शर्मा द्वारा लिखा गया एक यात्रा वृत्तांत है, जिसमें वे अपने परिवार के साथ इंदौर से गोवा की यात्रा का वर्णन करते हैं. वे गोवा की प्राकृतिक सुंदरता, वहाँ की जीवनशैली और आबोहवा का सजीव चित्रण करते हैं. लेखक बेनालियम, अंजुना, कलिंगवुड और कोलवा जैसे विभिन्न समुद्र तटों (बीच) के अपने अनुभव साझा करते हैं. वे अंजुना बीच के पथरीले सौंदर्य और बेनालियम बीच की रेतीली शांति के बीच के अंतर को स्पष्ट करते हैं. यात्रा के दौरान, वे पैराग्लाइडिंग जैसे रोमांचक जल-क्रीड़ा का भी आनंद लेते हैं. लेखक गोवा की सांस्कृतिक पहलू पर भी प्रकाश डालते हैं, विशेष रूप से वहाँ नवरात्रि और दशहरा मनाने के अनूठे तरीके का वर्णन करते हैं, जहाँ रावण दहन नहीं होता. अंत में, वे इस निष्कर्ष पर पहुँचते हैं कि पश्चिमी सभ्यता के प्रभाव के बावजूद, गोवा ने अपनी भारतीय सांस्कृतिक जड़ों को मजबूती से बनाए रखा है.
English: "Goa: Jaisa Maine Dekha" is a travelogue by author Vinay Sharma, where he describes his trip to Goa from Indore with his family. He vividly portrays the natural beauty, lifestyle, and climate of Goa. The author shares his experiences at various beaches like Benaulim, Anjuna, Calangute, and Colva. He clarifies the difference between the rocky beauty of Anjuna Beach and the sandy tranquility of Benaulim Beach. During the trip, he also enjoys thrilling water sports like paragliding. The author also sheds light on the cultural aspects of Goa, especially describing the unique way Navratri and Dussehra are celebrated there, where the effigy of Ravana is not burned. In the end, he concludes that despite the influence of Western civilization, Goa has firmly held on to its Indian cultural roots.
केंद्रीय भाव (Bilingual Theme / Central Idea)
हिन्दी: इस पाठ का केंद्रीय भाव गोवा के बहुआयामी स्वरूप को प्रस्तुत करना है। लेखक यह दर्शाना चाहते हैं कि गोवा केवल समुद्र तटों, पार्टियों और आधुनिक जीवनशैली का केंद्र नहीं है, बल्कि इसकी एक समृद्ध सांस्कृतिक विरासत भी है. यात्रा वर्णन के माध्यम से, लेखक पर्यटन के महत्व को भी रेखांकित करते हैं कि कैसे यह हमें रोजमर्रा की समस्याओं से निजात दिलाकर मन को तरोताजा कर देता है. पाठ यह संदेश देता है कि किसी भी स्थान की सच्ची पहचान उसकी प्राकृतिक सुंदरता और उसकी सांस्कृतिक परंपराओं के सामंजस्य में निहित होती है।
English: The central idea of this lesson is to present the multi-faceted nature of Goa. The author aims to show that Goa is not just a hub of beaches, parties, and modern lifestyle, but it also possesses a rich cultural heritage. Through the travelogue, the author also highlights the importance of tourism and how it refreshes the mind by providing relief from everyday problems. The lesson conveys the message that the true identity of any place lies in the harmony between its natural beauty and its cultural traditions.
पात्रों का चरित्र-चित्रण (Bilingual Character Sketch) (For Prose Only)
लेखक (विनय शर्मा) / Author (Vinay Sharma):
हिन्दी: लेखक एक प्रकृति-प्रेमी, जिज्ञासु और संवेदनशील व्यक्ति हैं। वे एक पारिवारिक व्यक्ति हैं जो अपने परिवार के साथ यात्रा करने का आनंद लेते हैं. उनमें गहरी अवलोकन शक्ति है, जिससे वे गोवा के समुद्र तटों की भिन्नता , स्थानीय जीवनशैली , और सांस्कृतिक परंपराओं को बारीकी से समझ पाते हैं। वे जीवन के छोटे-छोटे क्षणों से प्रेरणा लेते हैं, जैसे बच्चों को रेत के घर बनाते देखकर आशावाद सीखना.
English: The author is a nature-loving, curious, and sensitive individual. He is a family man who enjoys traveling with his family. He possesses keen observation skills, which allow him to closely understand the differences between Goa's beaches , the local lifestyle , and the cultural traditions. He draws inspiration from small moments in life, such as learning about optimism from watching children build sandcastles.
शब्दार्थ (Glossary)
शब्द (Word) | पर्यायवाची शब्द (Synonym) | विलोम शब्द (Antonym) |
आबोहवा | जलवायु, मौसम | - |
सैलानी | पर्यटक, यात्री | स्थानीय |
हरीतिमा | हरियाली | सूखा, मरुभूमि |
सुस्वादु | स्वादिष्ट, लज़ीज़ | बेस्वाद |
निजात पाना | मुक्ति पाना, छुटकारा पाना | फँसना, बंधना |
तरंगायित | उमंगित, उत्साहित | शांत, स्थिर |
नियति | भाग्य, किस्मत | कर्म, पुरुषार्थ |
भयावह | डरावना, भयानक | आकर्षक, सुंदर |
विरासत | धरोहर, परंपरा | - |
रोमांच | उत्तेजना, सिहरन | ऊब, नीरसता |
सही या गलत (कारण सहित) (True or False with Reason)
कथन १: लेखक अपने परिवार के साथ इंदौर से गोवा पहुँचे।
उत्तर: सही। कारण, पाठ में लिखा है, "मैं भी अपने परिवार के साथ इंदौर से गोवा जा पहुँचा।"
कथन २: गोवा राज्य दो जिलों, दक्षिण गोवा और उत्तर गोवा, में बँटा हुआ है।
उत्तर: सही। कारण, लेखक बताते हैं, "गोवा राज्य दो भागों में बँटा हुआ है। दक्षिण गोवा जिला तथा उत्तर गोवा जिला।"
कथन ३: अंजुना बीच मछुआरों की पहली पसंद है क्योंकि वह बहुत रेतीला है।
उत्तर: गलत। कारण, बेनालियम बीच रेतीला तथा उथला है और वह मछुआरों की पहली पसंद है. अंजुना बीच पथरीला है.
कथन ४: गोवा में दशहरा पर्व के दिन रावण का पुतला जलाया जाता है।
उत्तर: गलत। कारण, पाठ के अनुसार, "रावण का पुतला कहीं भी नहीं जलाया जाता है।"
कथन ५: लेखक ने पैराग्लाइडिंग का अनुभव बेनालियम बीच पर किया।
उत्तर: गलत। कारण, लेखक ने पैराग्लाइडिंग का रोमांच कलिंगवुड बीच पर अनुभव किया था.
स्वमत (Personal Opinion)
प्रश्न १: 'पर्यटन से मनोरंजन के साथ-साथ ज्ञान भी मिलता है', इस विषय पर अपने विचार लिखिए।
उत्तर: यह बिल्कुल सच है कि पर्यटन केवल मनोरंजन का साधन नहीं, बल्कि ज्ञान प्राप्ति का भी एक सशक्त माध्यम है। जब हम किसी नई जगह पर जाते हैं, तो हम वहाँ की भौगोलिक स्थिति, इतिहास, संस्कृति, खान-पान और लोगों की जीवनशैली से परिचित होते हैं। जैसा कि लेखक ने गोवा की यात्रा में वहाँ के समुद्र तटों की बनावट, दशहरा मनाने की अलग परंपरा और स्थानीय भोजन के बारे में जाना। यह व्यावहारिक ज्ञान हमें किताबों से नहीं मिल सकता। इस प्रकार, पर्यटन हमारे दृष्टिकोण को व्यापक बनाता है और हमें अधिक सहिष्णु और जानकार बनाता है।
उत्तर लिखने के लिए उपयोगी महत्वपूर्ण शब्द: ज्ञानवर्धन, संस्कृति, जीवनशैली, अनुभव, दृष्टिकोण, सहिष्णुता, व्यावहारिक ज्ञान।
प्रश्न २: लेखक ने बच्चों से सीखा कि 'जीवन में आशावाद हो तो कोई काम असंभव नहीं है'। क्या आप इस बात से सहमत हैं? स्पष्ट कीजिए।
उत्तर: हाँ, मैं इस बात से पूरी तरह सहमत हूँ। लेखक ने देखा कि बच्चे बार-बार लहरों द्वारा घर गिरा दिए जाने के बावजूद फिर से नया घर बनाने में जुट जाते थे. यह अटूट आशावाद का प्रतीक है। जीवन में भी हमें कई बार असफलताएँ मिलती हैं, जो लहरों की तरह हमारे प्रयासों को नष्ट कर देती हैं। ऐसे में यदि हम निराश होकर बैठ जाएँ, तो कभी सफल नहीं हो सकते। लेकिन यदि हम बच्चों की तरह आशावादी रहकर फिर से प्रयास करें, तो कोई भी लक्ष्य असंभव नहीं है। आशावाद हमें निरंतर प्रयास करने की ऊर्जा और शक्ति देता है।
उत्तर लिखने के लिए उपयोगी महत्वपूर्ण शब्द: आशावाद, सकारात्मकता, असफलता, प्रयास, दृढ़ संकल्प, प्रेरणा, ऊर्जा।
प्रश्न ३: गोवा की सांस्कृतिक विरासत के बारे में पाठ के आधार पर अपने विचार लिखिए।
उत्तर: पाठ से यह स्पष्ट होता है कि गोवा की सांस्कृतिक विरासत बहुत समृद्ध और अनूठी है। पश्चिमी फैशन और आधुनिकता के बावजूद, गोवा के स्थानीय लोग अपनी परंपराओं से गहराई से जुड़े हुए हैं. इसका सबसे अच्छा उदाहरण दशहरा मनाने का तरीका है। उत्तर भारत के विपरीत, यहाँ रावण दहन नहीं होता, बल्कि वाहनों की पूजा, भगवान की पालकी और एक विशेष पेड़ की पत्तियों का आदान-प्रदान करके यह पर्व मनाया जाता है. यह दर्शाता है कि गोवा ने अपनी सांस्कृतिक पहचान को जीवित रखा है और आधुनिकता एवं परंपरा के बीच एक सुंदर संतुलन बनाया है।
उत्तर लिखने के लिए उपयोगी महत्वपूर्ण शब्द: सांस्कृतिक विरासत, परंपरा, आधुनिकता, संतुलन, पहचान, दशहरा, अनूठापन।
प्रश्न ४: 'यात्रा वृत्तांत' विधा की कौन-सी बातें आपको आकर्षित करती हैं?
उत्तर: 'यात्रा वृत्तांत' विधा की सबसे आकर्षक बात यह है कि यह हमें घर बैठे ही किसी स्थान की सैर करा देती है। लेखक के व्यक्तिगत अनुभवों के माध्यम से हम उस स्थान के सौंदर्य, संस्कृति और लोगों के बारे में जीवंत जानकारी प्राप्त करते हैं। इसमें तथ्यों के साथ-साथ लेखक की भावनाएँ और विचार भी शामिल होते हैं, जो इसे रोचक और पठनीय बनाते हैं। जैसे इस पाठ में लेखक ने पैराग्लाइडिंग के अपने डर और खुशी के मिले-जुले भावों को व्यक्त किया है, जिससे पाठक स्वयं को उस अनुभव से जोड़ पाता है.
उत्तर लिखने के लिए उपयोगी महत्वपूर्ण शब्द: जीवंत वर्णन, व्यक्तिगत अनुभव, रोचक, पठनीय, जानकारी, भावनाएँ, जुड़ाव।
प्रश्न ५: गोवा जैसे पर्यटन स्थलों पर पर्यटकों द्वारा स्वच्छता बनाए रखने के लिए क्या प्रयास किए जाने चाहिए? उत्तर: गोवा जैसे पर्यटन स्थलों पर स्वच्छता बनाए रखने के लिए पर्यटकों को जिम्मेदारी से व्यवहार करना चाहिए। उन्हें समुद्र तटों और सार्वजनिक स्थानों पर कूड़ा नहीं फेंकना चाहिए और कूड़ेदान का ही प्रयोग करना चाहिए। प्लास्टिक की थैलियों और बोतलों का उपयोग कम से कम करना चाहिए। स्थानीय प्रशासन द्वारा निर्धारित नियमों का पालन करना चाहिए। इसके अलावा, पर्यटकों को दूसरों को भी स्वच्छता के लिए प्रेरित करना चाहिए। एक जिम्मेदार पर्यटक बनकर ही हम इन खूबसूरत जगहों की प्राकृतिक सुंदरता को भविष्य के लिए संरक्षित कर सकते हैं।
उत्तर लिखने के लिए उपयोगी महत्वपूर्ण शब्द: जिम्मेदारी, स्वच्छता, कूड़ा-कचरा, प्लास्टिक मुक्त, नियम, जागरूकता, संरक्षण।
संभावित परीक्षा प्रश्न (Probable Exam Questions)
प्रश्न १: गोवा पहुँचने पर लेखक ने पर्यटन के विषय में क्या सोचा?
उत्तर: गोवा पहुँचकर शीतल हवा के झोंकों से लेखक का मन प्रसन्न हो गया और उनकी यात्रा की सारी थकान मिट गई. तब उन्होंने सोचा कि पर्यटन का अपना ही आनंद है। जब हम जीवन की कई समस्याओं से जूझ रहे हों, तो उनसे छुटकारा पाने का सबसे अच्छा तरीका पर्यटन ही है, क्योंकि बदले हुए वातावरण के कारण मन तरोताजा हो जाता है और शरीर को भी कुछ समय के लिए आराम मिल जाता है.
प्रश्न २: बेनालियम और अंजुना बीच की विशेषताओं की तुलना कीजिए।
उत्तर: पाठ के अनुसार बेनालियम और अंजुना बीच की विशेषताएँ निम्नलिखित हैं:
बेनालियम बीच: यह बीच रेतीला और उथला है. यह बहुत ही खूबसूरत और शांत जगह है. यह मछुआरों की पहली पसंद है, जहाँ सुबह बड़ी मात्रा में मछलियाँ पकड़ी जाती हैं.
अंजुना बीच: यह बीच नीले पानी वाला और पथरीला है. यह गहरा है और बॉलीवुड की पहली पसंद है; यहाँ कई हिट फिल्मों की शूटिंग हुई है. इसके एक ओर पहाड़ी है, जहाँ से मनोरम दृश्य देखा जा सकता है.
प्रश्न ३: गोवा में नवरात्रि तथा दशहरा पर्व किस प्रकार मनाया जाता है?
उत्तर: गोवा में नवरात्रि तथा दशहरा पर्व उत्तर भारत से कुछ भिन्न तरीके से मनाया जाता है:
उत्तर भारत की तरह यहाँ भी माँ दुर्गा की घट स्थापना और गरबा का आयोजन होता है.
यहाँ रावण का पुतला नहीं जलाया जाता है.
लोग सुबह अपने वाहनों की सफाई करके उनकी पूजा करते हैं.
शाम को भगवान की पालकी मंदिर ले जाई जाती है और एक विशेष पेड़ की पत्तियाँ एक-दूसरे को देकर बधाई दी जाती है.
प्रश्न ४: लेखक और उनकी पत्नी के पैराग्लाइडिंग अनुभव का वर्णन अपने शब्दों में कीजिए।
उत्तर: लेखक ने अपनी पत्नी के साथ कलिंगवुड बीच पर पैराग्लाइडिंग का अनुभव किया. यह उनके लिए सबसे अधिक रोमांचक अनुभव था। काफी ऊँचाई से अथाह जलराशि को देखना जितना विस्मयकारी था, उतना ही भयावह भी. वे दूर-दूर तक फैले पानी और तेज हवा के बीच रस्सियों के सहारे लटके हुए थे. उन्हें डर भी लग रहा था कि यदि रस्सी छूट गई तो क्या होगा, और साथ ही इस बात की खुशी भी थी कि वे ऐसा रोमांचक दृश्य पहली बार देख रहे थे.
प्रश्न ५: शाकाहारी पर्यटकों को गोवा में किन समस्याओं का सामना करना पड़ता है और लेखक के परिवार ने इसका क्या हल निकाला?
उत्तर: गोवा में 'सी फूड' (समुद्री भोजन) की अधिकता होने के कारण शाकाहारी पर्यटकों को स्वादिष्ट भोजन की समस्या से जूझना पड़ता है. काफी भटकने के बाद अगर अच्छा शाकाहारी भोजन मिल भी जाए, तो वह बहुत महँगा होता है, जिससे जेब ढीली हो जाती है. लेखक को इस समस्या के बारे में पहले से पता था, इसलिए उन्होंने इसका हल यह निकाला कि वे अपने रिसॉर्ट के स्यूट में उपलब्ध किचन में ही भोजन बनाते और खाते थे.
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